बी एड - एम एड >> बीएड सेमेस्टर-2 चतुर्थ (A) प्रश्नपत्र - पर्यावरणीय शिक्षा बीएड सेमेस्टर-2 चतुर्थ (A) प्रश्नपत्र - पर्यावरणीय शिक्षासरल प्रश्नोत्तर समूह
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बीएड सेमेस्टर-2 चतुर्थ (A) प्रश्नपत्र - पर्यावरणीय शिक्षा - सरल प्रश्नोत्तर
प्रश्न- पर्यावरण संरक्षण अधिनियम, 1986 पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर-
यह अधिनियम पर्यावरण संरक्षण तथा उन्नयन एवं इससे सम्बन्धित तथ्यों का संरक्षण करता है।
जून, 1972 में स्टाकहोम में मानवीय पर्यावरण को लेकर संयुक्त राष्ट्र संघ ने जो निर्णय लिये थे, उनमें भारत ने भी हिस्सा लिया एवं आश्वस्त किया कि मानवीय पर्यावरण के संरक्षण एवं सुधार के लिए यथासम्भव सभी प्रयास किये जायेंगे। इस बात पर भी विचार किया गया कि संयुक्त राष्ट्र महासभा के निर्णयों को लागू किया जाय तथा मानव जाति के लिए पर्यावरण संरक्षण ही नहीं अपितु वन्य जीवों, पौधों तथा सम्पत्ति की भी रक्षा की जाय।
भारत सरकार द्वारा सन् 1980 में पर्यावरण मन्त्रालय को स्थापित किया गया। उल्लेखनीय है कि देश में औद्योगिक विकास, कृषि भूमि विस्तार, परिवहन सुविधाओं के प्रसार, खनन गतिविधियों के विस्तार तथा जनसंख्या वृद्धि के कारण पर्यावरण को अत्यधिक क्षति हो रही है। पर्यावरण ह्रास को रोकने के लिए तत्कालीन कानूनी प्रावधान अपर्याप्त लगे, अतः पर्यावरण प्रदूषण की रोकथाम तथा पर्यावरण को संरक्षण प्रदान करने के लिए पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 को लागू किया गया।
अधिनियम के उद्देश्य - छठवें दशक में विश्व में पर्यावरण के गिरते स्तर की ओर ध्यान आकर्षित हुआ तथा पर्यावरण के पतन का मुख्य कारण बढ़ता हुआ प्रदूषण सिद्ध हुआ। वनस्पति का ह्रास, जैविक प्रत्यावर्तन, वायु में हानिकारक रसायनों का बढ़ता हुआ सांद्रण, भोजन - श्रृंखला एवं पर्यावरणीय दुर्घटनाओं ने जीवन का आधार ध्वस्त करके भयभीत कर दिया।
अतः उपर्युक्त बातों को ध्यान में रखते हुए एक सामान्य कानून की नितान्त आवश्यकता पर्यावरण संरक्षण एवं समन्वय को लेकर अनुभूत हुई, जिसमें पर्यावरणीय गतिविधियों को लेकर नियमित पर्यावरण प्रदूषकों के विसर्जन एवं खतरनाक पदार्थों के उपयोग एवं पर्यावरणघाती दुर्घटनाओं तथा मानवीय पर्यावरण स्वास्थ्य एवं सुरक्षा से खिलवाड़ करने वालों के लिए विभिन्न सजाओं का प्रावधान करने पर विचार किया गया।
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