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			| शब्द का अर्थ |  
				| कुँजड़ा					 : | पुं० [सं० कुंज+हिं० ड़ा(प्रत्य)] [स्त्री० कुँजड़ी, कुँजड़िन] १. तरकारी, फल आदि होने या बेचनेवाले लोगों की एक जाति। पद—कुँजड़े-कसाई=छोटी जातियों के लोग। २. तरकारी, फल साग आदि बेचनेवाला दूकानदार। पद—कुँजड़े का गल्ला=किसी पदार्थ, विशेषतः धन, आदि की ऐसी राशि, जिसके आय-व्यय या लेन-देन का कोई हिसाब न रहता हो। |  
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं |  |