| शब्द का अर्थ | 
					
				| पीच					 : | स्त्री० [सं० पिच्च] वह लसीला पदार्थ जो चावल उबालने पर बच रहता है। माँड़। पुं० [अं० पिच] अलकतरा। स्त्री०=पीक (पान की)। | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं | 
			
					
				| पीचना					 : | अ० [सं० पिच्च] पैरों से कुचलना या रौंदना।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं | 
			
					
				| पीचू					 : | पुं० [देश०] १. चीलू या जरदालु का पेड़। २. करील का पका हुआ फूल। कचरा टेंटी। | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं | 
			
					
				| पीच					 : | स्त्री० [सं० पिच्च] वह लसीला पदार्थ जो चावल उबालने पर बच रहता है। माँड़। पुं० [अं० पिच] अलकतरा। स्त्री०=पीक (पान की)। | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं | 
			
					
				| पीचना					 : | अ० [सं० पिच्च] पैरों से कुचलना या रौंदना।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) | 
			
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				| पीचू					 : | पुं० [देश०] १. चीलू या जरदालु का पेड़। २. करील का पका हुआ फूल। कचरा टेंटी। | 
			
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