| शब्द का अर्थ | 
					
				| पुराकृत					 : | भू० कृ० [सं० स० त०] १. पूर्व काल में किया हुआ। २. पूर्वजन्म में किया हुआ। पुं० पूर्वजन्म में किये हुए वे भले और बुरे काम जिनका फल दूसरे जन्म में भोगना पड़ता है। | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं | 
			
					
				| पुराकृत					 : | भू० कृ० [सं० स० त०] १. पूर्व काल में किया हुआ। २. पूर्वजन्म में किया हुआ। पुं० पूर्वजन्म में किये हुए वे भले और बुरे काम जिनका फल दूसरे जन्म में भोगना पड़ता है। | 
			
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं |