| 
		
			| शब्द का अर्थ |  
				| ययाति					 : | पुं० [सं०] १. राजा नहुष के पुत्र तथा राजा पुरु के पिता जिनका विवाह शुक्राचार्य की कन्या देवयानी के साथ हुआ था। शुक्राचार्य द्वारा अभिशप्त होने पर इन्हें अकालिक वृद्धावस्था प्राप्त हुई थी। बाद में इन्होंने अपनी वृद्धावस्था अपने पुत्र पुरु को देकर उससे उसका यौवन लिया था और इस प्रकार १००० वर्षों तक सुख भोग किया था। २. लाक्षणिक अर्थ में, ऐसा व्यक्ति जो शरीर से वृद्ध परन्तु मन से युवा हो। |  
				|  | समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं |  |